_sweetharmoniVk
किसी ने हँसते-हँसते मौत को गले लगाया,
किसी ने जंजीरों को तोड़ आज़ादी का सूरज जगमगाया।
ये ज़मीन, ये हवा, ये आज़ाद आसमान—
सब उनकी कुर्बानियों का अरमान।
भगत सिंह… वो नौजवान,
जिसने उम्र से पहले क्रांति का ऐलान,
फाँसी के तख़्त पर भी गीत गाया,
"इंक़लाब ज़िंदाबाद" का शोर मचाया।
राजगुरु और सुखदेव उसके संग खड़े,
क़दम से क़दम, मौत से भी न डरें,
माँ की मिट्टी पर लहू बहा दिया,
बस तिरंगे का मान बढ़ा दिया।
चंद्रशेखर आज़ाद… जिनके नाम में ही आज़ादी,
जिनकी बंदूक से निकली हर गोली थी बर्बादी,
दुश्मन के लिए और आज़ादी के लिए जीत,
आखिरी साँस तक निभाई वीरता की रीत।
नेताजी सुभाष, जिनकी हुंकार थी,
"तुम मुझे ख़ून दो, मैं तुम्हें आज़ादी दूँगा",
INA के रणबांकुरे साथ लिए,
उन्होंने दुश्मनों के दिल को चीर दिया।
लाला लाजपत राय का साहस देखो,
जेल की कोठरी में भी इरादा न रोको,
सरदार पटेल का लोहा जैसा दिल,
देश को जोड़े रखा हर मुश्किल पल में मिल।
गाँधी जी का सत्य और अहिंसा का मार्ग,
लाखों को बना गया आज़ादी का सारथी,
जिनके शब्दों ने तोपों से भी ज़्यादा चोट की,
और साम्राज्य की नींव हिला दी।
आज अगर हम मुस्कुराकर साँस ले रहे हैं,
तो इसकी क़ीमत वीरों ने चुकाई है,
उनके लहू से सींचा गया ये चमन,
उनके सपनों में बसा है ये वतन।
आओ मिलकर प्रण ये लें,
कि उनकी कुर्बानियों को भूलें नहीं,
हर तिरंगे की लहर में उनकी आत्मा को सलाम करें,
और इस भारत को और महान करें।
"वंदे मातरम! जय हिंद!"
Happy independence day
_sweetharmoniVk
@_sweetharmoniVk Yess preparing for exam but I am Posting on alternative days "Regret"
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