बहुत दिन हुये चैन सोये हुए माँ,
केया तेरी गोद में मुझे सोने देगा?
बहुत दिन हुये दिलको सुकून मिले माँ,
केया तुझसे लिपटकर मुझे रोने देगा?
बड़े होते होते दिल पथ्थर हो गया माँ,
आजा दिखाना हैं, पथ्थर भी टुटा करते है।
तु क़रीब था तो पता नहीं चलता था माँ,
नसीब तो नसीब, भगवान भी रुठा करते हैं!
वो आंसू आज मिले, जिनको तुने छुपाया था माँ,
ढुँढ न पाऊँ फिर, ऐसे उनहे छुपा लेना।
मिल नहीं रहा वो उम्मीद वो मुसकान माँ,
जरा तु आके मुझे वो सब ढुँढ देना।तु मुझे सबसे आच्छि समझतीं थी माँ,
लगता है तुझे बेशक जादू आतीं थी।
वरना दबी ख़्वाहिश,मेरी दिल कि बातें,
माँ बिन बोले कैसे तु समझ जातीं थी।
जब दवाइयाँ ना असर करता था माँ,
तब तो तेरी दुआएं असर करती थी।
तबियत मेरा खराब होता था ओर,
तकलीफ तेरी आँखों में घर करती थी।
आजकल तो खानेसे पेट भर जाता है माँ,
दिल भरता जिस्से वो तेरे हाथ का बना खाना था।
झूठ है फिजूल की महलों, दौलत, शोहरत सारे,
असली स्वर्ग तो मेराे माँ का मुसकुराना था।कद बड़ा हो गया माँ, तेरे चरणों में जाकर झुकना हैं।
जीन्दगीकी दौड़ बड़ी दौड़ली,तेरे पास जाकर रुकना हैं।
कबुल तेरा एहसान करना हैं, मांगना तुझसे माफ़ी हैं।
तेरे होठों पे मुस्कान हो, मेरे लिए वो काफ़ी हैं।
उम्मीद खोया रूखी सूखी जमीन का तु हौसला हैं,
शाम ढले तो,थका-हारा पक्षि का तु घोंसल हैं।
मैं एक राही अंधेरो का,ओर तु मेरा दिया हैं,
मैं तोरा चंदा, ओर तु मेरी पूरी दुनिया हैं।
मैं माँ से दूर हूँ भले, माँ मुझसे दूर कहाँ।
मैं उस माँ का बेटा हूँ,इससे बड़ा गुरूर कहाँ!
मेरे माँ सा कौन भला, मेरी माँ महफ़ूज़ रहें।
मन्नत इतना है रब,मेरी माँ हमेशा खुश रहें।