आतिशे वो प्यार की , जल के खाक हो गई......
बातें वो इश्क़ की , अब आम हो गई.....
हर कोई है जिस्म का दीवाना,
सच्ची मोहब्त का कहाँ ठिकाना,
।।प्यार तो बस एक अहसास है,
फिर करता क्यों कोई ऐसा खिलवाड़ है।।
।।पीता है कोई क्यों आँखों से शवाब ................
फिर शम्मा भी सरमा जाती है ,
देख के ये ख्वाब।।