मैने आँखे खोली तो खुद को एक अंधेरे में डूबा हुआ पाया।
आह! मेरा सर
बहुत दर्द कर रहा है।
मुझे कुछ आवाज सुनाई दी।
अवनि!
अवनि
अवनि क्या तुम हो?
ध्रुव! प्लीज़ मज़ाक मत करो, तुम ही हो ना
कोई जवाब नहीं मिला, मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा था, मैने उठने की कोशिश की,
मेरा शरीर बुरी तरह से चुभन महसूस कर रहा था।
थोड़ा आगे चलने पर तेज़ रोशनी दिखाई दी, मुझे कुछ नहीं दिखाई दे रहा था, क्या मैं सच में मर चुका हु, कहाँ हु मैं... आफ्टरवर्ल्ड में?
मेने अपनी आँखों को बन्द किया और फिर से खोला, काफी समय अँधेरे में रहने की वजह से शायद रोशनी में कुछ देख नहीं पा रहा था, आँखे खोली तो सामने एक बहुत ही खूबसूरत और डरावना मंजर था, खूबसूरती और डर का ऐसा मेल शायद ही कही मिले।
कौनसी जगह है यह ... मेरे सामने पहाड़िया ...गीली मिट्टी की खुशबू ...मैं काफी ऊँचाई पर था, नीचे गहराई में हरा भरा घना जँगल साफ दिख रहा था, ये जन्नत-सा नज़ारा था, पर ये ऊँचाई और अकेलापन मुझे डरा रहा था, फिर से मेरे बाजू व छाती में दर्द महसूस होने से मेरा ध्यान इस ख़ूबसूरती से भटका व मैने अपने हाथों की और देखा।
मेरे हाथ... पर कुछ सुईया लगी हुई थी और मेरी छाती पर भी, वैसी ही जैसी मेने चाइनीज़ फ़िल्मो में देखा था,
मैं उन्हें निकालने लगा।
"नही दोस्त"
"अभी तुम पूरी तरह सही नहीं हुए"
किसी लड़की की आवाज आई पीछे उसी अँधेरे में से।
ये अवनि...की आवाज तो नहीं थी।
कौन हो तुम ...?
"एक दोस्त"-उस लड़की ने जवाब दिया और उसने वहाँ की लाइट्स चालू की,
मुझे अजीब लगा, मैने सोचा था कि यहाँ मशाले होंगी या आग की ऐसी ही कोई तकनीक जिससे यहाँ रोशनी हो।
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The New Order Vampire [HINDI]
Vampirosएक कहानी तीन दोस्तों और दों रह्श्यमयी वंशों की, एक कहानी जो वैम्पायर्स के भारत से उदगम का समर्थन करती है, एक कहानी जो कोई कॉलेज ड्रामा नही, भारत के अनछुए पहलु से रूबरू कराने वाला अहसास है, जिसकी ये तो बस शुरुआत है...