दिल हे तुम्हारा

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कोई हम से महान नहीं न कोई हम से तुच्च
हम तो सिर्फ़  एक मुस्कुराहट के  क़ायल हैं
कभी दिल खोलके तो हँसो साहेब
क़सम ये ज़िन्दगी आपकी हँसी पे निछावर है ।

अल्फ़ाज़ (शब्द) Alfaazजहाँ कहानियाँ रहती हैं। अभी खोजें