दोस्त

73 11 10
                                    


मुद्दतों बाद किसी ने,
दिल का द्वार खटखटाया।
मुसकुराता, गुनगुनाता,
कोई दोस्त बनके आया।
गीत गाके, गुदगुदा के,
पल-पल मुझे हँसाया।
किसी नटखट बच्चे सा वह,
मेरे दिल को भाया..
मुसकुराता, गुनगुनाता,
कोई दोस्त बनके आया।

दोस्त जहाँ कहानियाँ रहती हैं। अभी खोजें