35. जय-बसंती पीहा-अजय

1.3K 7 4
                                        

35. जय-बसंती पीहा-अजय

बसंती को पता नहीं क्या सुझा उसने हाँ में गर्दन हिला दी। जय ने तुरंत पैंट को उतार कर फेंका और लिंग को उसके हाथ में पकड़ा दिया। बसंती हैरानी से कभी उसे देख रही थी तो कभी उसके लिंग को।

बसंती ने तुरंत अपना हाथ पीछे खींच लिया मानो वो कोई नाग हो और वो उसे डस लेगा। फिर जय ने जब उसे पकड़ने का इशारा किया तो बसंती ने उसके ऊपर वाली दरार को अपनी पहली ऊँगली से छूकर देखा और ऊँगली को ऊपर से नीचे लेकर गयी।

जय हसंकर बोला "ये नाग नहीं है बसंती, चिंता मत करो ये तुम्हे डसेगा नहीं। इसे पकड़कर हिलाओ तुम्हे मज़ा आएगा।"

बसंती अब भूल चुकी थी कि वो अपने भाई के दोस्त के साथ है जिसे वो अपना भाई समझती है। उसका लिंग उसे अब इंटरस्टिंग चीज लग रही थी। उसने अपनी पहली ऊँगली और अंगूठे से उसके लिंग की ऊपरी गोलाई को पकड़ा और स्किन को ऊपर नीचे करने लगी। हालाँकि जय को एक कुंवारी लड़की के हाथों ऐसा करने से मज़ा तो आ रहा था पर वो चाहता था कि ये अपने पूरे हाथ की गृप बनाकर ऐसा करे।

जय बोला "पूरे हाथ से पकड़कर करो ना बसंती।" उसने अपने हाथ से उसका हाथ पकड़कर अपने लिंग को पूरी तरह से उसके हाथ में पकड़ा दिया। बसंत अब अपने हाथ से उसके लिंग की स्किन को ऊपर नीचे करने लगी तो उसे वो सॉफ्ट सॉफ्ट सा बहुत अच्छा लग रहा था और इधर जय ने तो पहली दफा ऐसा किया था।

जय ने अपना एक हाथ उसके एक बूब पर रख दिया। बंसती हिल सी गयी पर बोली कुछ नहीं। वो उसे संतरे की तरह दबाने लगा। या जैसे पहले ट्रक में हॉर्न होता था और ड्राइवर उसे दबा कर बजाते थे वैसे ही। दूसरे हाथ को वो उसकी जांघ पर फेरने लगा। बसंती भी धीरे धीरे फॉर्म में आ रही थी। हालाँकि ये उसका पहली बार था पर उसे जोश पूरा आ चुका था।

जय एक कुर्सी पर बैठा था जिसकी बाजु नहीं थी और बसंती उसके सामने वाली कुर्सी पर। अब जब बसंती को जोश आया तो वो उठ कर जय की गोद में बैठ गयी और उसके होंठों को चूसने लगी। जय ने मौके की नज़ाकत को देखते हुए उसका टॉप उतार दिया। अब उसके बूब्स आधे से भी ज्यादा नज़र आ रहे थे। वो उत्तेजना के मारे सख्त हो चुके थे।

आप प्रकाशित भागों के अंत तक पहुँच चुके हैं।

⏰ पिछली अपडेट: Jul 13 ⏰

नए भागों की सूचना पाने के लिए इस कहानी को अपनी लाइब्रेरी में जोड़ें!

डॉ पीहा के बोल्ड और सेक्सी कारनामेजहाँ कहानियाँ रहती हैं। अभी खोजें