आज़ादी

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Topic:-

Every country in the world celebrates its day of independence but as we can see 50% population is still not independent.  Every year, we hear more than thousand sexual harassment cases against women. Sometimes the guilty is outsider and sometimes the insider. We are not safe at any place either it's workplace or home.

ख़ुद की मर्जी का पहन नहीं सकती
  अपने फैसले खुद ले नहीं सकती 
  अकेले कहीं जा नहीं सकती
प्रतिभा अपनी दिखा नहीं सकती
फिर आजादी किस बात की मनाऊँ मैं ।

ना सुरक्षा हमारी घर पे है
नाही कभी काम पे 
नाही है अपनों से
नाही किसी अनजान से 
फ़िर आज़ादी किस बात की मनाऊँ मैं?

कब, किसके रूप में दरिंदा मिल जाए
कैसे पता लगाऊँ मैं?
कब, किसकी दरिंदगी खा जाएगी मुझे,
ये भी समझ ना पाऊँ मैं।
फ़िर आज़ादी किस बात की मनाऊँ मैं?

जिंदगी हमारी है, पर बस हमारा चलता ही नहीं। 
कभी चली पिता की मर्जी से
कभी चली भाई की मर्जी से
कभी चली पति की मर्जी से
जब चली हर बार एक मर्द की मर्जी से
फ़िर आज़ादी किस बात की मनाऊँ मैं?

->saniya❤️

Wandering mind❤️Where stories live. Discover now