भाग- 22

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जब मेरी आंखे खुली तो मैंने चारो ओर अंधेरा पाया,ऐसा लग रहा था जैसे मैं घण्टो से बेहोश था,मैंने याद करने की कोशिस की मैं कहा हु ,मुझे याद आया मैं अपनी बहनों के साथ उनके कॉलेज गया हुआ था,मैं पूर्वी और निशि के प्रोफेसर्स से मिला और उनके बारे में उनसे बात की ,कॉलेज में ही मुझे मोहनी मिली,मोहनी वही फार्महाउस वाली बेले डांसर जिसपर मैं फिदा हो गया था,उसने बताया की उसके भाई के प्रोफेसर ने उसे मिलने बुलाया था,कैसा अजीब सा संयोग था की मैं भी अपनी बहनों के लिए यंहा आया था,हालांकि मुझे उसका भाई साथ दिखाई नही दिया,उसने कहा की वो क्लास में चला गया है,जैसे मेरी बहने अपनी क्लास में जा चुकी थी…….

या शायद वो मुझसे अपनी इडेन्टिटी छुपा रही थी ,उसका काम ही कुछ ऐसा था…….

मैंने उसे कही ड्राप करने की बात कही और वो मान भी गई ,मैं कार में बैठा था और मोहनी मेरे बाजू में ,वो कमाल की लग रही थी ,उसका खिला हुआ चहरा और कसाव लिए हुए उसका बदन...बड़ा ही मादक अंदाज था उसका लेकिन आज वो पूरी तरह से ढकी हुई एक संस्कारी महिला की तरह दिख रही थी,साड़ी से झांकता हुआ यौवन मुझे लुभा रहा था ,मांग में मोटा सा सिंदूर और गले में लटकता हुआ मंगलसूत्र उसके शादी शुदा होने की गवाही चीख चीख कर दे रहा था…..

मैं कार स्टार्ट ही करने वाला था की रश्मि का फोन आ गया,मैं नीचे उतारकर बात करने लगा,वो थोड़ी भड़की हुई थी ,मैं अभी तक होटल नही पहुचा था और 1 की बजाय 2 दिन से गायब था…..उसने मुझे जल्दी से होटल पहुचने को कहा…

हम कालेज का केम्पस क्रॉस करके सुनसान इलाके से गुजर रहे थे तभी किसी ने मुझे पीछे से जोरो से पकड़ लिया ,मैं थोड़ा छटपटाया भी था लेकिन उसने मेरे नाक को एक रुमाल से दबा दिया था……..

मैं अभी अभी होश में आया हुआ बिते हुए समय को याद कर रहा था,मैं उठने को हुआ तो मुझे पता चला की ना सिर्फ मेरी आंखों में पट्टी बांधी गई है बल्कि मेरे हाथ भी बंधे है,,मैं जमीन में बैठा हुआ था...कितने समय से ,,ये तो मुझे भी नही पता ………………..

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